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मंगलवार, 23 अक्टूबर 2018

एकबार और..



एकबार और
वध होगा
रावण का

असली रावण का नहीं
पुतालावाले रावण का, दहन होगा

हमारे घर में भी एक रावण है
तुम्हारे घर में भी एक रावण है

फिरभी उनके घर के रावण का वध
दहन का उत्सव होगा आज...
 - रवीन्द्र भारद्वाज 

सोचता हूँ..

सोचता हूँ.. तुम होते यहाँ तो  बहार होती बेरुत भी  सोचता हूँ.. तुम्हारा होना , न होना  ज्यादा मायने नही रखता यार !  यादों का भी साथ बहुत होता...